Tuesday, November 10, 2020

इश्क़ है मुझे तुझसे ऐ जिंदगी

इश्क़ है मुझे तुझसे ऐ जिंदगी 

कम है तू किसी से रश्क के लिए 

ना दे रब मुझे दौलत या शोहरत

सुकूने जिंदगी चाहिए मुझे अपने लिए 


क्या मांगू किसी की जिंदगी 

हालाते खूब देखकर 

जब अलग है मंजिल भी  

और जिंदगी का सफर भी


रह खुश उसी में जो मिला है रब से

क्या गम उसका जो मिला ही न हो 

रोता है तू देखकर हाथो की लकीरो को 

क्या रोये वो जिनके  हाथ ही ना हो 



Monday, November 9, 2020

सोचा नहीं था ख्याल तेरा आएगा

 पलटते हुए माज़ी के पन्नो को 

सोचा नहीं था ख्याल तेरा आएगा 

भूल चूका था जिसको कभी 

एक बार फिर रूबरू हो जायेगा 


बैठकर यारों के बीच !

सोचा नहीं था जिक्र तेरा आएगा 

भूल चूका था जिस नाम को कभी 

एक बार फिर याद वो आ जायेगा 


झुकते हुए सजदे पे कभी 

सोचा न था चेहरा तेरा आएगा 

फ़रियाद की थी जिसे भूलने कि कभी 

एक बार फिर उसका दीदार हो जायेगा 

Saturday, November 7, 2020

ख़यालों की दस्तक

रिश्ता कुछ अजीब है खयालो का मुझसे इस कदर देते हैं दस्तक मुझे तन्हाइयों में देखकर बेशक मुझे मंजूर नहीं रोक लूँ खयालो को और रोकना भी उनको मेरे इख्तियार में नहीं नायाब इन खयालो को संजोता हूँ में अपने पास जो आके दिला जाते है जीने का इक अहसास



Friday, November 6, 2020

इस जहाँ में कोई मैखाना नहीं होता

ना होते इतने करीब
गर होश में जो होते
कमबख्त बेखुदी ने तेरा
दीवाना बना दिया


क्या जाने वो
कीमत इस मैखाने की !
इसी ने तो परायो को
अपना बना दिया

लोग कहते है जगह है बुरी
न जाया करो
कहता हूँ मैं लग जाये
ये आदत ज़माने को


ज़िन्दगी में न पूछ सके
जो हाले दिल
कम से कम मैखाने में
दिल तो मिलाने दो

पैमाना न बना
ज़िन्दगी में तू किसी चीज़ का
अपनों के लिए यहाँ
पैमानों को बदलते देखा है

पर खासियते मैखाना
तो दखिये एक बार
यहाँ परायो को भी अपने
जाम बदलते देखा है

गलत हु मैं , बोल गया बेखुदी में मैखाने में कोई कभी पराया नहीं होता गर होता तो शायद इस जहाँ में कोई मैखाना नहीं होता

इश्क़ है मुझे तुझसे ऐ जिंदगी

इश्क़ है मुझे तुझसे ऐ जिंदगी  कम है तू किसी से रश्क के लिए  ना दे रब मुझे दौलत या शोहरत सुकूने जिंदगी चाहिए मुझे अपने लिए  क्या मांगू किसी की...